सच्ची श्रद्धा से मिलते हैं परमात्मा ।
अवधूत बड़ा आश्रम शीशम झाड़ी मैं श्रीमद् भागवत ज्ञान महायज्ञ का आयोजन के चतुर्थ दिवस पर कृष्ण जन्म महोत्सव बड़ी धूमधाम के साथ मनाया गया ।
श्रीमद् भागवत ज्ञान महायज्ञ के मुख्य व्यास निर्भय चरण दास महाराज ने कहा कि जीवन में यदि परमात्मा को पाना है तो पहले हमें स्वयं को परमात्मा की प्राप्ति के लिए तैयार करना होगा
परमात्मा के प्रति सच्ची श्रद्धा व स्नेह ही उन की प्राप्ति करवाता है।
अवधूत बड़ा आश्रम शीशम झाड़ी में चल रही श्रीमद् भागवत ज्ञान कथा यज्ञ के चतुर्थ दिन कथा व्यास निर्भय चरण दास महाराज ने श्री कृष्ण के जन्म महोत्सव का सुंदर झांकियां सहित वर्णन किया उन्होंने बताया कि कंस के अत्याचारों का घड़ा भर गया था इस कारणवश श्री हरि विष्णु को कृष्ण अवतार के रूप में धरती पर अवतरित होना पड़ा उन्होंने कहा कि जब-जब धर्म की हानि धरती पर हुई है ।
भगवान को धरती पर पाप के बोझ को दूर करने के लिए अवतरित होना पड़ता है इसलिए सदैव अच्छे कर्म करने चाहिए साथ ही सच्ची निष्ठा व प्रेम भाव से परमात्मा को भजना चाहिए क्योंकि भवसागर में नैया पार लगाने वाले परमात्मा ही है इस दौरान श्री कृष्ण की नन्हे रूप की झांकी निकाली गई ।
जिसे देखने के लिए सभी भक्तों में उत्साह देखने को मिला गुजरात से आए हुए भक्तों ने कृष्ण जन्मोत्सव में गरबा भी किया मौके पर श्री कृष्ण के भजनों की शानदार प्रस्तुति भी दी गई जिस पर भक्तों ने भक्तिरस में डूबते हुए उनका श्रवण किया ।
इस अवसर पर विरक्त वैष्णव मंडल के अध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी दयाराम दास महाराज तुलसी मानस मंदिर के महंत रवि प्रपन्नाचार्य महाराज महंत स्वामी प्रमोद दास महंत स्वामी महिमानंद महाराज
कार्यक्रम में उपस्थित महामंडलेश्वर स्वामी दयाराम दास महाराज के द्वारा बागेश्वर धाम से लाया गया सरयू के उद्गम स्थल सरयू मूल का पवित्र जल सभी भक्तों को दिया गया
महाराज श्री ने कहा कि इस कलिकाल में हम मानव मात्र श्रीमद् भागवत कथा के माध्यम से अपने जीवन में तीन बातों का विशेष ध्यान रखें और उसको अपने जीवन में उतारे सर्वप्रथम सेवा सुमिरन और सत्संग इन तीन बातों को हम अपने जीवन में उतार ले तो हमारे जीवन की सारी विपत्तियां दूर होती चली जाएंगी और सुख शांति समृद्धि सदैव हमारे पास रहेगी।
कार्यक्रम का संचालन तुलसी मानस मंदिर के महंत रवि प्रपन्नाचार्य महाराज ने किया।
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